KORBA: नहाने के दौरान नदी में लापता तीन युवकों की तलाश जारी..SDRF के साथ लोकल टीम को इस काम में लगाया गया
कोरबा 05 फरवरी। दर्री क्षेत्र मैं नहाने के दौरान नदी में लापता हुए तीन युवकों की तलाश के लिए आज दूसरे दिन अभियान जारी रखा गया। एसडीआरएफ के साथ लोकल टीम को इस काम में लगाया गया है जो विस्तृत क्षेत्र में रेस्क्यू कर रही है। इस काम के लिए मोटर बोट के साथ कुशल गोताखोर की टीम लगाई गई है। इन सब के बीच लापता युवकों के परिजन और उनके शुभचिंतक यह कामना कर रहे हैं कि नदी में डूबे युवक सही सलामत मिल जाए।
सागर चौधरी, आशुतोष और बजरंगदास नामक तीन युवक सीएसईबी कॉलोनी कोरबा वेस्ट और अयोध्यापुरी के निवासी हैं जो मंगलवार को डाँड़पारा क्षेत्र में गए हुए थे। हसदेव नदी में नहाने के दौरान वे काफी गहराई में चले गए और फिर किनारे आने में असमर्थ रहे। युवकों के लापता होने के बारे में आसपास के लोगों को जानकारी हुई और वे हरकत में आए। मामले की सूचना मिली तो युवकों के परिजन और उनके परिचित लोगों का इस इलाके में आना हुआ।। काफी जल्दबाजी में गोताखोरों को संबंधित क्षेत्र में युवकों की खोज के लिए उतारा गया लेकिन शाम तक कोई नतीजे नहीं आ सके।
दर्री थाना प्रभारी राजेश तिवारी ने बताया कि घटना के दूसरे दिन आज हसदेव नदी के विस्तृत क्षेत्र में रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू किया गया है। प्रशासन और आपदा प्रबंधन विभाग को इस बारे में जानकारी दिए जाने पर स्टेट डिजास्टर रेस्पॉन्ड फोर्स के साथ नगर सेना की लोकल यूनिट रेस्क्यू ऑपरेशन में शामिल की गई है। इसमें सभी प्रशिक्षित गोताखोर मौजूद हैं । घटना स्थल से लेकर हसदेव बैराज तक आज लापता यूवको की खोज के लिए प्रयास किए जा रहे हैं। हसदेव नदी में पानी की काफी मात्रा मौजूद है इसके बावजूद कई प्रकार की संभावना पर काम किया जा रहा है ।
हसदेव नदी में लोगों के डूबने की घटनाएं लगातार हो रही है, इसके बावजूद उनका सतर्कता बरतने पर ध्यान नहीं है। पिछले वर्ष कटघोरा निवासी एक परिवार के दो लोगों की झोराघाट में तब मौत हो गई थी जब वे काफी सुबह पिकनिक मनाने के लिए यहां पहुंचे हुए थे और एक नदी में पानी की अधिक मात्रा आने से फंस गए। वही कोरबा के पंप हाउस मैगजीन भाता क्षेत्र निवासी मानिकपुरी परिवार के दो बच्चे नहाने के दौरान हसदेव नहर में लापता हो गए, जिन्हें बाद में मृत स्थिति में प्राप्त किया गया। कोरबा जिले के ही चिचोली क्षेत्र में निजी टेलीकॉम कंपनी के इंजीनियर सुल्तानपुर उत्तर प्रदेश निवासी की कुछ दिन पहले ही हसदेव नदी में डूबने से मौत हो गई थी। पूरे 9 दिन के बाद उसकी शव एक आयलैंड से बरामद किया गया।
यद्यपि जल संसाधन विभाग और पुलिस के द्वारा इस प्रकार की घटनाओं से लोगों को बचाने के लिए अपनी ओर से कोशिश की गई है। नदी और नहर के उन क्षेत्रों में जहां पर गहराई ज्यादा है, चेतावनी देने वाले बोर्ड लगाए गए हैं और लोगों को यहां पर उतरने से रोकने को कहा गया है। इतना सब कुछ करने के बाद भी अति उत्साही लोग मौके पर पहुंचने से गुरेज नहीं करते। नदी की गहराई और तैराकी के मामले में अनजान लोग इस प्रकार की स्थिति में अनहोनी का शिकार हो जाते हैं।