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KORBA:नियोक्ता व दोषी अधिकारियों के विरुद्ध हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर करेंगे: जायसवाल

कोरबा। कोरबा, कटघोरा, जांजगीर देश के सबसे ज्यादा प्रदूषित जिला तथा सबसे अधिक मानव दुर्घटना क्षेत्र हैं। राष्ट्रीय कालरी मजदूर कांग्रेस (आर.सी.एम.सी.) अब चुप नहीं बैठ सकती इसीलिए जनचेतना के माध्यम से खनन अधिकारी, डी.जी.एम.एस एवं पर्यावरण अधिकारियों का घेराव कर जनचेतना लाएगी। ऐसे अपराध करने वाले कम्पनियों के नियोक्ता तथा दोषी अधिकारियों के विरुद्ध छत्तीसगढ़ उच्च न्यायलय में जनहित याचिका दायर करने पर सहमति बनी है।

राष्ट्रीय कालरी मजदूर कांग्रेस जिसका पंजीयन वर्ष 1948 में किया गया था सम्बन्धित एन.एफ. आई.टी.यू. (भारत सरकार से मान्यता प्राप्त) संगठन की दो दिवसीय प्रबंध कार्यकारिणी की बैठक यूनियन कार्यालय में सम्पन्न हुई।
डॉ. दीपक जायसवाल, राष्ट्रीय अध्यक्ष (एन.एफ.आई.टी.यू.) व राष्ट्रीय महासचिव (आर.सी.एम.सी.) ने प्रेस क्लब तिलक भवन में पत्रवार्ता आहूत कर कहा कि देश आज स्वतंत्रता दिवस की 78वी वर्षगांठ मना रहा है। देश में कोयला एवं ऊर्जा नगरी से विख्यात सरकारी कम्पनी के नियोक्ता धडल्ले से माईन्स एक्ट / माईन्स रूल्स, आई.डी. एक्ट के साथ वन एवं पर्यावरण कानून का लगातार उल्लंघन कर यंहा के निवासियों के जान का खतरा बना चुके हैं। बड़े आश्चर्य की बात है कि सरकार किसी भी पार्टी की हो, सरकार एवं सरकारी कर्मचारियों के साथ जनप्रतिनिधि भी मौन हैं।

डी.जी.एम.एस., श्रम मंत्री, केन्द्रीय श्रम सचिव, एवं नियोक्ताओं को राष्ट्रीय कालरी मजदूर कांग्रेस (आर.सी.एम.सी.) द्वारा कई नोटिस दिए, परन्तु अपराध जारी है एवं इस अपराध में प्राइवेट कम्पनी तथा बालको एवं अन्य उद्योग भी आगे हैं, लगातार दुर्घटनायें बढ़ रही है। वायु प्रदुषण मानक से चार गुना रहता है। अब राष्ट्रीय कालरी मजदूर कांग्रेस (आर.सी.एम.सी.) चुप नहीं बैठ सकती इसीलिए जनचेतना के माध्यम से खनन अधिकारी, डी.जी.एम.एस एवं पर्यावरण अधिकारीयों का घेराव कर जनचेतना लाएगी। ऐसे अपराध करने वाले कम्पनियों के नियोक्ता तथा दोषी अधिकारियों के विरुद्ध छत्तीसगढ़ उच्च न्यायलय में जनहित याचिका दायर करने पर सहमती बनी है।
यूनियन की प्रबंध कार्यकारिणी ने कई प्रस्ताव/संकल्प पारित किये हैं। बी.एम.एस. को छोड़ इंटक (रेड्डी गुट)/एटक/सीटू/एच.एम.एस. संगठन एवं एस.ई.सी.एल. के साथ कानून तोड़ने में संलिप्त हैं।
डॉ. दीपक जायसवाल ने कहा कि प्रजातंत्र का चौथा स्तंभ कोरबा के पत्रकार / प्रेस क्लब समय समय पर गैरकानूनन गतिविधियों को उठाता रहता है। सरकारी उपक्रम एस.ई.सी.एल./ एन.टी.पी.सी. के राज्य एवं प्राइवेट माईन्स, कारखाने क्षेत्रीय हितों की उपेक्षा कर रहे हैं.। सी.एस.आर, एवं डी.एम.आर. फण्ड का राशि जमीनी स्तर पर नजर नहीं आता है। इस क्षेत्र के कई श्रमिक नेता आपराधिक कृत्यों पर जमानत पर हैं। मोदी सरकार ने केन्द्रीय भविष्य निधि संगठन में ट्रस्टी मनोनीत किया है। नियोक्ता / पात्र कामगारों का ई.पी.एफ./ ई.एस.आई.सी. के रूपये जमा कराएँ तथा मोदी के गारन्टी पूरी करने मोदी समर्थक आगे आएं।

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